घने जंगल वह भटक गया साथी न कोई आगे बढ़ता रहा ढ़ूंढ़ते पथ छटपटाता रहा सूझा न राह वह लगाया टेर देव हे देव सहाय करो मेरी दिव्य प्रकाश प्रकाशित जंगल प्रकटा देव किया वह वंदन मानव है तू ? देव करे सवाल उत्तर तो दो मानवता कहां है ? महानतम मैने बनाया तुझे सृष्टि रक्षक मत बन भक्षक प्राणी जगत सभी रचना मेरी सिरमौर तू मुखिया मुख जैसा पोषण कर सदा । -रमेश चौहान
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चोका-हे मानव
मानव है तू ?
देव करे सवाल
उत्तर तो दो
मानवता कहां है ?
महानतम
मैने बनाया तुझे
सृष्टि रक्षक
मत बन भक्षक
प्राणी जगत
सभी रचना मेरी
सिरमौर तू
